Uttar Pradesh : जालौन जिले में उरई-कानपुर एनएच 27 पर कुइयां गांव के पास मिली युवती के शव के मामले में पुलिस ने चौंकाने वाला खुलासा किया है। मृतका बांदा जिले की रहने वाली थी और प्रयागराज में बैंक पीओ की तैयारी कर रही थी। पुलिस ने युवती के प्रेमी शिखर शुक्ला को गिरफ्तार किया है जिसने कबूल किया कि वह शव को कार में लेकर सैकड़ों किलोमीटर तक घूमा और फिर हाईवे किनारे फेंककर फरार हो गया।
सीओ सिटी राजीव प्रताप सिंह के अनुसार, मृतका के परिजनों की शिकायत पर बांदा पुलिस ने अपहरण का मामला दर्ज किया था। आरोपी शिखर शुक्ला, जो कानपुर का निवासी है, ने बताया कि युवती के बार-बार बुलाने पर वह प्रयागराज पहुंचा जहां उसने उसे मृत पाया। घबराहट में वह शव को अपनी कार में डालकर घूमता रहा और बाद में हाईवे किनारे छोड़ दिया।
युवती के परिजन आरोपी पर भरोसा करते थे और उसे बेटी के लिए प्रयागराज में कोचिंग एडमिशन दिलाने की जिम्मेदारी दी थी। घटना के बाद युवती का मोबाइल बंद हो गया और एक हफ्ते तक परिजनों को उसके नंबर से खैरियत के मैसेज मिलते रहे। लेकिन परिजनों को शक हुआ और उन्होंने 10 नवंबर को अपहरण की एफआईआर दर्ज कराई।
इस बीच, उरई पुलिस ने कुइयां गांव के पास से मिले शव को अज्ञात मानकर पोस्टमार्टम के बाद अंतिम संस्कार कर दिया। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में हैंगिंग (फांसी) से मौत की पुष्टि हुई थी। बांदा पुलिस ने मोबाइल लोकेशन ट्रेस करते हुए आरोपी शिखर शुक्ला को गिरफ्तार किया। पूछताछ में उसने स्वीकार किया कि युवती ने आत्महत्या की थी, और उसने खुद को बचाने के लिए शव को हाईवे पर फेंक दिया।
शिखर शुक्ला की गिरफ्तारी के बाद परिजन इतने आक्रोशित थे कि उन्होंने पुलिस चौकी में उसकी जमकर पिटाई की। पुलिस ने किसी तरह आरोपी को बचाकर लॉकअप में सुरक्षित रखा। युवती ने कानपुर में बीकॉम किया था और इस साल प्रयागराज में बैंकिंग प्रतियोगिता की तैयारी के लिए एडमिशन लिया था। 23 अक्टूबर तक परिजनों से उसकी बात होती रही लेकिन इसके बाद अचानक उसका मोबाइल बंद हो गया।
यह मामला परिवार के विश्वास के दुरुपयोग और कानून व्यवस्था की गंभीर स्थिति को उजागर करता है। पुलिस जांच जारी है, और आरोपी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की उम्मीद है।