UP News : चकबंदी संबंधी मामलों के निपटारे में लेटलतीफी, लापरवाही और अनियमितता के आरोपों के बाद राज्य सरकार ने आठ मंडलों के 28 चकबंदी अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है। इस मामले में तीन अधिकारियों को निलंबित किया गया है, एक सेवानिवृत्त अधिकारी की पेंशन में कटौती की गई है और एक उप संचालक (चकबंदी) को पद से हटाने के निर्देश दिए गए हैं।
चकबंदी आयुक्त जीएस नवीन कुमार ने हाल ही में हुई समीक्षा बैठक में अधिकारियों के काम में लापरवाही और भ्रष्टाचार की जानकारी दी। पूरी रिपोर्ट मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भेजी गई, जिन्होंने कड़ी कार्रवाई के निर्देश दिए। इसके परिणामस्वरूप, कुशीनगर के बंदोबस्त अधिकारी (चकबंदी) संतोष कुमार को कार्य में लापरवाही के चलते निलंबित कर दिया गया है।
अन्य प्रमुख कार्रवाइयाँ
1. जौनपुर : ग्राम तियरा के चकबंदी कार्य में देर पर चकबंदीकर्ता और चकबंदी लेखपाल को निलंबित करने के निर्देश दिए गए हैं। वहां के सहायक चकबंदी अधिकारी संजय मौर्य के खिलाफ अनुशासनिक कार्रवाई के लिए कहा गया है।
2. गोरखपुर : उप संचालक (चकबंदी) राज नारायण त्रिपाठी को पद से हटाने के लिए नियुक्ति विभाग को पत्र लिखा गया है। सेवानिवृत्त सहायक चकबंदी अधिकारी रमेश पाल सिंह राणा की पेंशन में 20 प्रतिशत कटौती का प्रस्ताव भी शासन को भेजा गया है।
बरेली, हरदोई, ललितपुर, उन्नाव, चित्रकूट और जौनपुर (UP News) के बंदोबस्त अधिकारियों को लापरवाही के कारण जवाब-तलब किया गया है। प्रतापगढ़ के उप संचालक चकबंदी/मुख्य राजस्व अधिकारी राकेश कुमार गुप्ता से भी स्पष्टीकरण मांगा गया है। वाराणसी के बंदोबस्त अधिकारी पवन कुमार सिद्धू के खिलाफ ग्राम अजगरा का काम पूरा न करने और स्थानांतरित चकबंदी लेखपालों को मुक्त न करने के कारण अनुशासनिक कार्रवाई प्रारंभ की गई है।
अनुशासनिक कार्रवाई के निर्देश
कनौज, बाराबंकी और फतेहपुर के चकबंदी अधिकारियों और सहायक चकबंदी अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनिक कार्रवाई की गई है। बलरामपुर के सहायक चकबंदी अधिकारी संदीप यादव के खिलाफ भी कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं। प्रयागराज और प्रतापगढ़ के ग्रामों में लापरवाही के चलते संबंधित सहायक चकबंदी अधिकारियों के खिलाफ भी अनुशासनिक कार्रवाई की गई है।
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