Bihar Election 2025: पटना में मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सरकारी आवास के बाहर खूब हंगामा हुआ। बड़ी संख्या में जनता दल (यूनाइटेड) यानी जेडीयू के नाराज़ नेता और कार्यकर्ता वहां पहुंच गए। वजह थी विधानसभा चुनाव के लिए टिकट न मिलना। जो लोग टिकट की उम्मीद लगाए बैठे थे, जब उन्हें लिस्ट में अपना नाम नहीं मिला, तो गुस्सा फूट पड़ा।
मुख्यमंत्री आवास के बाहर बढ़ाई गई सुरक्षा
हालात को देखते हुए मुख्यमंत्री आवास के बाहर भारी सुरक्षा लगा दी गई। पुलिस और सुरक्षा बलों ने रस्सियों और बैरिकेडिंग से इलाके को घेर लिया, ताकि प्रदर्शन करने वाले अंदर न जा सकें। लेकिन इसके बावजूद नाराज नेताओं और कार्यकर्ताओं की भीड़ वहां जुट ही गई। नारेबाजी शुरू हो गई और लोग धरने पर बैठ गए।
पूर्व विधायक गोपाल मंडल की खुली चेतावनी
बेलहर (जमुई) से पूर्व विधायक गोपाल मंडल खुद धरने पर बैठ गए। उनका साफ कहना था कि जब तक नीतीश कुमार खुद उनसे मिलकर टिकट को लेकर बात नहीं करेंगे, वो वहां से हटने वाले नहीं हैं। मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा, “मुझे पूरा भरोसा है कि मेरा टिकट नहीं कटेगा, लेकिन जब तक मुख्यमंत्री बात नहीं करेंगे, मैं यहीं बैठा रहूंगा।”
जिले-जिले से पहुंचे नाराज कार्यकर्ता
सिर्फ जमुई ही नहीं, बल्कि कुर्था, दरभंगा और नबीनगर जैसे कई इलाकों से जेडीयू के कार्यकर्ता पहुंचे। उनका आरोप है कि पार्टी उन लोगों को टिकट दे रही है जो हाल ही में आए हैं, जबकि सालों से मेहनत करने वाले पुराने कार्यकर्ताओं को नजरअंदाज़ किया जा रहा है। इससे जमीनी कार्यकर्ताओं में जबरदस्त नाराज़गी है।
भागलपुर सांसद ने दिया इस्तीफे की पेशकश
इस पूरे बवाल में भागलपुर से जेडीयू के सांसद अजय मंडल भी सामने आए। उन्होंने नीतीश कुमार को चिट्ठी लिखकर अपने पद से इस्तीफा देने की पेशकश कर दी। उनका आरोप है कि टिकट बांटने में उन्हें कोई तवज्जो नहीं दी गई और बाहर के दबाव में फैसले लिए जा रहे हैं। उन्होंने इसे पार्टी के भविष्य के लिए नुकसानदायक बताया।
पार्टी में बढ़ती अंदरूनी कलह
जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नज़दीक आ रहे हैं, जेडीयू के भीतर की खींचतान भी बढ़ती जा रही है। टिकट बंटवारे को लेकर जो नाराज़गी दिख रही है, वो पार्टी की चुनावी रणनीति को बड़ा झटका दे सकती है।
IPS पूरन कुमार की पत्नी का आरोप
उधर, एक और बड़ी खबर चंडीगढ़ से आई है। हाल ही में संदिग्ध हालत में जान गंवाने वाले आईपीएस अधिकारी पूरन कुमार की पत्नी, जो खुद एक IAS अफसर हैं, उन्होंने चंडीगढ़ पुलिस में शिकायत दी है।
उनका आरोप है कि कुछ अधिकारियों की वजह से उनके पति मानसिक दबाव में थे। उन्होंने साफ कहा कि जब तक पुलिस दोषियों को एफआईआर में नामजद नहीं करेगी और गिरफ्तारी नहीं होगी, तब तक वे पति का अंतिम संस्कार नहीं करेंगी।
लैपटॉप की जांच की तैयारी
इस बीच पुलिस ने पूरन कुमार की पत्नी को नोटिस भेजा है और उनके पति का लैपटॉप मांगा है। पुलिस का मानना है कि इसी लैपटॉप में वह सुसाइड नोट लिखा गया है और इसकी जांच जरूरी है। लैपटॉप को फॉरेंसिक लैब भेजने की तैयारी है, ताकि यह साबित हो सके कि सुसाइड नोट असली है और पूरन कुमार ने ही लिखा था।
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