UP digital media policy 2024 : उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में 13 महत्वपूर्ण प्रस्तावों को मंजूरी दी गई है। इनमें सबसे प्रमुख है ‘यूपी डिजिटल मीडिया नीति-2024’, जिसका उद्देश्य प्रदेश की सरकारी योजनाओं और उपलब्धियों को जनता तक पहुंचाना है। इस नई नीति के तहत सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स जैसे फेसबुक, इंस्टाग्राम, यूट्यूब, और एक्स (पूर्व में ट्विटर) के लिए बड़े प्रोत्साहनों की घोषणा की गई है।
सोशल मीडिया पर विज्ञापन और रोजगार के नए अवसर
नई नीति के तहत, सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर सरकार की योजनाओं का प्रचार करने वाली एजेंसियों और फर्मों को प्रोत्साहित किया जाएगा। इससे न केवल रोजगार के नए अवसर बनेंगे, बल्कि सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं का प्रभावी प्रसार भी संभव हो सकेगा।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर फॉलोअर्स और सब्स्क्राइबर्स की संख्या के आधार पर भुगतान की चार श्रेणियां बनाई गई हैं। फेसबुक, इंस्टाग्राम, और एक्स जैसे प्लेटफॉर्म्स पर अधिकतम भुगतान सीमा क्रमशः 5 लाख, 4 लाख, और 3 लाख रुपये प्रति माह तय की गई है। यूट्यूब पर वीडियो, शॉर्ट्स और पॉडकास्ट के लिए यह सीमा क्रमशः 8 लाख, 7 लाख, 6 लाख और 4 लाख रुपये प्रति माह निर्धारित की गई है।
आपत्तिजनक पोस्ट पर कड़ी सजा का प्रावधान
सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक, राष्ट्रविरोधी, अश्लील या अभद्र पोस्ट करने वालों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई का प्रावधान किया गया है। नई नीति के अनुसार, ऐसे पोस्ट करने वालों को तीन साल से लेकर उम्रकैद तक की सजा दी जा सकती है। इसके अलावा, अश्लील और अभद्र पोस्ट डालने पर आपराधिक मानहानि का मुकदमा भी दर्ज किया जा सकता है।
यह भी ध्यान देने योग्य है कि केंद्र सरकार ने तीन साल पहले ही ‘इंटरमीडियरी गाइडलाइंस एंड डिजिटल मीडिया एथिक्स कोड’ जारी किया था, लेकिन उत्तर प्रदेश (UP) सरकार द्वारा लाई गई नई नीति से सोशल मीडिया पर अनुशासनहीनता को नियंत्रित करने के प्रयासों को और अधिक सुदृढ़ता मिलेगी।
सरकार का उद्देश्य और निष्कर्ष
सरकार (UP) की इस नई नीति का उद्देश्य सोशल मीडिया के बढ़ते प्रभाव को सकारात्मक दिशा में उपयोग करना है। इसके जरिए सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि जनहितकारी योजनाएं जनता तक प्रभावी ढंग से पहुंच सकें, साथ ही सोशल मीडिया पर अनुचित व्यवहार को नियंत्रित किया जा सके।
इस पहल से सोशल मीडिया पर कार्यरत एजेंसियों और फर्मों को न केवल आर्थिक लाभ मिलेगा, बल्कि राज्य के विकास में उनका योगदान भी महत्वपूर्ण होगा।