Akhilesh Yadav : समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव सोमवार को ईद-उल-फितर के मौके पर लखनऊ में ईदगाह जा रहे थे। इस दौरान उनका काफिला रास्ते में बैरिकेडिंग से रोका गया। इस घटनाक्रम से नाराज सपा प्रमुख ने योगी सरकार पर जमकर हमला बोला और कहा कि उन्होंने कभी ऐसी बैरिकेडिंग नहीं देखी थी।
अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर जुबानी हमला करते हुए कहा, “क्या यह इमरजेंसी का माहौल है? क्या दबाव डालने की कोशिश की जा रही है ताकि लोग दूसरे धर्मों के त्योहारों में हिस्सा न ले सकें? ऐसी बैरिकेडिंग कभी नहीं देखी। बैरिकेडिंग का उद्देश्य यह था कि लोग त्योहार न मना सकें। सबसे बड़ा खतरा लोकतंत्र को है। बीजेपी इस देश को संविधान से नहीं, बल्कि अपनी तानाशाही के तरीके से चला रही है।”
अखिलेश ने बताया कि पूरी बैरिकेडिंग लगाकर उन्हें आधे घंटे तक रोका गया। उन्होंने यह जानने की कोशिश की कि ऐसा क्यों किया जा रहा है, लेकिन किसी भी अधिकारी के पास इसका कोई स्पष्ट जवाब नहीं था। उन्होंने इस घटनाक्रम को तानाशाही और इमरजेंसी की स्थिति से जोड़ते हुए सवाल किया, “क्या दबाव बनाना चाहते हैं कि लोग दूसरे धर्म के त्योहारों में शामिल न हों?” इसके साथ ही अखिलेश ने ममता बनर्जी के बयान का समर्थन भी किया।
डीसीपी का बयान
ईद-उल-फितर के अवसर पर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर डीसीपी पश्चिम, लखनऊ, विश्वजीत श्रीवास्तव ने कहा, “लखनऊ में आज ईद की नमाज अदा की जा रही है। इस दौरान सुरक्षा के व्यापक और पुख्ता प्रबंध किए गए हैं। हम लगातार CCTV और ड्रोन की मदद से निगरानी कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर भी 24 घंटे निगरानी की जा रही है। व्यवस्था पूरी तरह से सुदृढ़ की गई है।”
उन्होंने आगे बताया कि AI तकनीक से लैस ड्रोन का उपयोग भी सुरक्षा में किया जा रहा है। अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए डीसीपी श्रीवास्तव ने कहा कि हो सकता है कि उस समय भीड़ ज्यादा रही हो, जिस कारण कुछ देर तक गाड़ियां रुकी हों। बाकी घटनाक्रम की पूरी जानकारी एक बार फिर जांचने के बाद साझा की जाएगी।